श्रीवचन भूषण – सूत्रं ११७

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परन्तु, ज्ञानियों के लिए ये उपाय क्या हैं?

सूत्रं११७

ज्ञानिगळुक्कु अपायम्।

सरल अनुवाद 

ज्ञानी व्यक्तियों के लिए ये विपत्तिपूर्ण हैं।

व्याख्या

ज्ञानिगळुक्कु अपायम्

अर्थात्, जिन लोगों को आत्मा के वास्तविक स्वरूप का गहन बोध (स्वरूप याथात्म्य ज्ञान) है, उनके लिए ये अन्य उपाय विनाशकारी होंगे।

अडियेन् केशव रामानुज दास

आधार: https://granthams.koyil.org/2021/06/01/srivachana-bhushanam-suthram-117-english/

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