कृष्ण लीलाएँ और उनका सार – ३५ – स्यमन्तक मणिलीला, जाम्बवती व सत्यभामा कल्याणम्
श्री: श्रीमते शठकोपाय नमः श्रीमते रामानुजाय नमः श्रीमद् वरवरमुनये नमः श्रीवानाचलमहामुनये नमः श्रृंखला << रुक्मिणी कल्याणम् सूर्य भक्त एक सत्राजित नामक राजा था। उसकी भक्ति से प्रसन्न होकर सूर्यदेव ने स्यमन्तक मणि दी। वह कांतिमय रत्न अपार धन प्रदान करने वाला है। सत्राजित ने उसे सांकल में पिरोकर पहन लिया और आनन्द से रहने लगा। … Read more